विश्व स्तनपान सप्ताह

मां का दूध सर्वोत्तम आहार है: डॉ सुधाकर पांडेय

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झांसी 01 अगस्त । अगस्त माह का प्रथम सप्ताह विश्व स्तनपान सप्ताह के रूप में मनाए जाने के शासन द्वारा दिए गए निर्देश के क्रम मेंबुंदेलखंड के झांसी  जनपद स्तरीय अभिमुखीकरण कार्यशाला का आयोजन सीएमओ ऑफिस के सभागार में  मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ सुधाकर पांडेय की अध्यक्षता में किया गया।

डॉ सुधाकर पांडेय ने बताया कि शिशु के लिए स्तनपान सर्वोत्तम आहार तथा शिशु का मौलिक अधिकार है। मां का दूध शिशु के शारीरिक एवं मानसिक विकास के लिए अत्यंत आवश्यक है। यह शिशु को डायरिया, निमोनिया एवं कुपोषण से बचाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।

उन्होंने बताया कि आवश्यक है कि जन्म के तुरंत बाद अति शीघ्र 1 घंटे के भीतर नवजात को स्तनपान अवश्य प्रारंभ कराया जाए, 6 माह तक केवल मां का दूध दिया जाए, शिशु के 6 माह पूरे होने पर ऊपरी अनुपूरक आहार की शुरुआत स्तनपान के साथ की जाए तथा  2 वर्ष की आयु पूरी होने तक आहार के साथ स्तनपान जारी रखा जाए, जन समुदाय को जागरूक करने एवं स्तनपान कराने में माता को सहयोग प्रदान करने के उद्देश्य से विश्व स्तनपान सप्ताह का आयोजन 01 अगस्त से 07 अगस्त 2024 तक किया जाएगा।

नोडल अधिकारी एसीएमओ आरसीएच डॉ एन के जैन ने बताया कि विश्व स्तनपान सप्ताह की ग्लोबल थीम *क्लोजिंग द गैप : ब्रेस्टफीडिंग सपोर्ट फॉर ऑल अर्थात अंतर को कम करना : सभी के लिए स्तनपान सहायता* रखी गई है। स्तनपान संकल्प है, विकल्प नहीं ।
चिकित्सालय/ स्वास्थ्य केंद्र में होने वाले प्रसव में चिकित्सक, स्टाफ नर्स, एलएचवी, एएनएम, आशा द्वारा सभी लाभार्थी एवं परिवार जनों को स्तनपान के लिए परामर्श दिया जाएगा तथा सभी गर्भवती महिलाओं को स्तनपान के लाभ और प्रबंधन के बारे में जानकारी प्रदान की जाएगी। बच्चों के भूख के संकेत की पहचान कर शिशु की मांग पर स्तनपान कराने के लिए मां को प्रोत्साहित किया जाएगा। साथ ही सभी चिकित्सालय में लिखित स्तनपान नीति की उपलब्धता सुनिश्चित की जाएगी एवं इस नीति को लागू करने के लिए सभी स्वास्थ्य देखभाल कर्मियों का आवश्यकता अनुसार क्षमता वर्धन किया जाएगा।
उन्होंने इन्फेंट मिल्क सब्सीट्यूट एक्ट के विषय में जानकारी देते हुए बताया कि बाजार में प्रचलित कृत्रिम दूध, दूध पाउडर एवं बोतल के प्रयोग से होने वाली हानियों तथा इसको रोकने के लिए इन्फेंट मिल्क सब्सीट्यूट एक्ट लागू है। इस एक्ट के बारे में कार्यरत स्टाफ को जागरूक किया जाएगा तथा सभी सरकारी अस्पतालों में प्रसव के तुरंत बाद 1 घंटे के अंदर स्तनपान को आरंभ करने में मां की सहायता की जाएगी।
स्वास्थ्य शिक्षा अधिकारी डॉ विजयश्री शुक्ला ने बताया कि स्तनपान सप्ताह के अंतर्गत आशा व एएनएम द्वारा गर्भावस्था की तृतीय तिमाही के प्रारंभ से सभी गर्भवती महिलाओं को स्तनपान के लाभ, प्रसवोपरान्त स्तनपान की शुरुआत एवं स्तनपान के सही तरीके के विषय में जानकारी दी जाएगी। स्तनपान से नवजात शिशु को प्राप्त होने वाले लाभ के साथ ही मां को प्राप्त होने वाले लाभ जैसे- अधिक रक्तस्राव का ना होना, गर्भाशय व स्तन कैंसर से बचाव तथा शिशु के साथ मां का भावनात्मक लगाव के विषय में जानकारी दी जाएगी। स्तनपान से जुड़ी समस्त समस्याओं एवं समाधान की जानकारी भी सभी धात्री महिलाओं से साझा की जाएगी। आशाओं द्वारा क्षेत्र की सभी धात्री महिलाओं की मां समूह की बैठक आयोजित करते हुए स्तनपान व्यवहार के महत्व के बारे में चर्चा की जाएगी।
इस कार्यशाला में एसीएमओ डॉ एन के जैन, डॉ के एन एम त्रिपाठी, डॉ रविशंकर, उपमुख्यचिकित्सा अधिकारी डॉ रमाकांत स्वर्णकार, डीपीएम  ऋषिराज सिंह, डीसीपीएम प्रशांत वर्मा, स्वास्थ्य शिक्षा अधिकारी डॉ विजयश्री शुक्ला, यूनिसेफ प्रतिनिधि सुनील चौधरी, अर्बन कोऑर्डिनेटर  जियाउरहमान सहित सभी सीएचसी से अधीक्षक, नगरीय प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों से प्रभारी चिकित्सा अधिकारी, जनपद के सभी स्वास्थ्य शिक्षा अधिकारी, बीपीएम, बीसीपीएम व ब्लॉक अकाउंट मैनेजर आदि उपस्थित रहे।
वैभव सिंह
बुंदेलखंड कनेक्शन

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