झांसी 15 मई । झांसी के बुंदेलखंड विश्वविद्यालय में आज एक ऐसी पुस्तक का विमोचन किया गया जिसमें झांसी के जिलाधिकारी रविंद्र कुमार के तमाम अभावों और परेशानियों के बीच जीवन में बड़ी सफलताओं तक पहुंचने के कठिन सफर को शब्दों में पिरोया गया है।
यहां विश्वविद्यालय परिसर के गांधी सभागार में आज “ सपनो के सारथी” पुस्तक का विमोचन किया गया। इस पुस्तक को आनंद चौबे और अनिरूद्ध रावत ने लिखा है। श्री चौबे ने बताया कि झांसी के जिलाधिकारी का जीवन युवाओं के लिए विशेष रूप से प्रेरणाप्रद है। उन्होंने जिस तरह से तमाम अभावों के बीच किसी भी परेशानी से हार न मानते हुए एक योद्धा के रूप में जीवन रण में डटे रहकर उच्चतम सफलताएं अर्जित की , वह आज के युवाओं के लिए बहुत महत्वपूर्ण है।
इस अवसर पर जिलाधिकारी ने कहा “ मुझे बताया गया है कि यह पुस्तक लोगों विशेषकर युवाओं के बीच पसंद की जा रही है। अगर मेरे जीवन के छोटे छोटे संघर्ष से किसी के जीवन में कोई बदलाव आ सकता है तो मैं समझूंगा मेरा संघर्ष सफल रहा।मेरा यह कहना है कि मेहनत करें और अपने सपनों को साकार करें। ”
इस अवसर पर विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. मुकेश पाण्डेय ने कहा कि जिलाधिकारी रविंद्र कुमार का जीवन आर्दश जीवन का उदाहरण है।पुस्तक युवाओं के लिए और छात्रों के लिए बहुत प्रेरणादायी है। इसमें संघर्ष की जो कहानी है उससे छात्र आत्मबल और इच्छाशक्ति को बढ़ा सकते है।
इस पुस्तक को विश्वविद्यालय के विभिन्न विभागों की लाइब्रेरी में रखा जायेगा ताकि विश्वविद्यालय के छात्र और युवा अधिक से अधिक संख्या में इस पुस्तक से लाभ ले सकें।
गौरतलब है कि झांसी जिलाधिकारी रविंद्र कुमार बिहार के निवासी हैं । लोकसेवा आयोग में सफलता से पहले वह मर्चेंट नेवी में काम कर चुके हैं। तमाम तरह के अभावों और परेशानियों से जूझते हुए श्री कुमार ने जीवन में बड़ी बड़ी सफलताएं अपनी कभी न हार मानने वाली जीवटता के बल पर हासिल की। वह एकमात्र ऐसे आईएएस अधिकारी है जिन्होंने माउंटेंन कलाइंबिंग में बड़ी सफलता हासिल करते हुए दो बार माउंट एवरेस्ट की सफल चढाई की है।
वैभव सिंह
बुंदेलखंड कनेक्शन